
कोतवाली प्रभारी ने बच्चे को गोद में लेकर दिलाई मुखााग्नि।
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छत्तीसगढ़ के मानेंद्रगढ़-चिरमिरी-भरतपुर (MCB) जिले में मानवता को शर्मसार करने वाला मामला सामने आया है। एक युवक को शादी करने की सजा उसकी मौत के बाद भी भुगतनी पड़ी है। शादी के बाद जहां परिजनों ने पति-पत्नी का सामाजिक बहिष्कार कर दिया। वहीं युवक की मौत होने के बाद कोई उसे कांधा देने भी नहीं पहुंचा। पति का शव लिए सड़क किनारे महिला को बैठा देखा तो थानेदार ने उसके दो साल के बच्चे को गोद में लेकर मुखाग्नि दिलाई। मामला कोतवाली क्षेत्र का है।
लव मैरिज करने पर परिवार ने रिश्ता तोड़ा
जानकारी के मुताबिक, ग्वालियर के रहने वाले निक्की वाल्मीकि और कोरबा निवासी सविता से लव मैरिज की थी। दोनों की अलग-अलग जाति होने के कारण परिवार वालों ने उनका सामाजिक बहिष्कार कर दिया। इसके बाद दंपति मनेंद्रगढ़ आ गए और मजदूरी करने लगे। बताया जा रहा है कि मंगलवार को अचानक से निक्की की तबीयत खराब हो गई। इसके बाद जहां काम कर रहे थे, वहां से उन्हें एक गाड़ी में मनेंद्रगढ़ भेज दिया गया। इस दौरान रास्ते में निक्की की मौत हो गई।
रतनपुर में सड़क किनारे शव छोड़कर भाग चालक
इस पर वाहन चालक निक्की और उसकी पत्नी सविता को बिलासपुर के रतनपुर में सड़क किनारे छोड़कर भाग गया। आसपास के लोगों ने देखा तो अस्पताल पहुंचाया। वहां पंचनामा कार्रवाई के बाद एंबुलेंस से निक्की के शव को मनेंद्रगढ़ रवाना कर दिया गया। मंगलवार रात करीब 9 बजे मनेंद्रगढ़ पहुंचे तो सविता अपने पति का शव लेकर सड़क किनारे खड़ी थी। तभी पुलिसकर्मियों ने देखा तो उससे पूछताछ की। मामला जानने के बाद पुलिसकर्मियों ने कोतवाली प्रभारी सचिन सिंह को सूचना दी।
पुलिस ने की अंतिम संस्कार की व्यवस्था
सविता ने कोतवाली प्रभारी को बताया कि उसके पास अंतिम संस्कार के लिए पैसे नहीं हैं। उसकी गोद में दो साल का बच्चा भी था। परिवार वालों को सूचना दी गई, लेकिन वहां से भी कोई नहीं आया। यह देखकर पुलिसकर्मियों ने खुद ही अंतिम संस्कार करने का निर्णय लिया। इसके बाद पुलिस ने अंतिम संस्कार की सारी व्यवस्था की। बुधवार को मनेंद्रगढ़ मुक्तिधाम में कोतवाली प्रभारी सचिन सिंह ने सविता के बच्चे को गोद में लेकर उससे मुखाग्नि दिलावाई। इस दौरान उनका स्टाफ भी मौजूद रहा।

Author: raftarhindustanki



